हिन्दुस्तान मिरर, 9 फरवरी 2025 अलीगढ: उत्तर प्रदेश के गौरांग कुटीर, पीपल वाली गली में बंदरों का आतंक दिन-प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। आज सुबह करीब 10:00 बजे एक दर्दनाक घटना सामने आई, जब बंदरों के झुंड ने एक लड़की पर हमला कर दिया।
स्थानीय निवासी श्री भूपेंद्र सक्सेना की 18 वर्षीय पुत्री गौरंगी सक्सेना अपनी मां के साथ छत पर बैठी हुई थी। अचानक पीछे से आए बंदरों के झुंड ने मां-बेटी पर हमला बोल दिया। इस हमले से बचने की कोशिश में गौरंगी संतुलन खो बैठी और छत से नीचे गिर गई। गिरने से गौरंगी के सिर में गंभीर चोटें आईं और टांके लगाने पड़े। डॉक्टरों के अनुसार, उसकी हालत चिंताजनक बनी हुई है।
स्थानीय निवासियों में आक्रोश, प्रशासन पर लापरवाही का आरोप
इस घटना के बाद स्थानीय लोगों में भारी आक्रोश है। निवासी अश्विनी पंडित ने बताया कि मुख्यमंत्री हेल्पलाइन सेवा 1076 पर कम से कम पांच बार बंदरों की शिकायत दर्ज कराई गई है, लेकिन हर बार शिकायत को यह कहकर बंद कर दिया जाता है कि कार्रवाई पूरी हो गई है। स्थानीय प्रशासन और नगर निगम की ओर से भी कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है।
अश्विनी पंडित ने कहा, “बंदरों के आतंक से इलाके के लोग बेहद परेशान हैं। बच्चों और बुजुर्गों को सबसे ज्यादा खतरा है। हमने कई बार प्रशासन से गुहार लगाई, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई।“
निवासियों की मांग: बंदरों को सुरक्षित स्थान पर भेजा जाए
स्थानीय लोगों ने जिलाधिकारी से गुहार लगाई है कि इस समस्या का तत्काल समाधान निकाला जाए। उनका कहना है कि बंदरों को पकड़कर किसी सुरक्षित जंगल या अभयारण्य में छोड़ा जाए, ताकि जानवरों और इंसानों दोनों को कोई समस्या न हो।
इलाके में बंदरों का यह आतंक कोई नई बात नहीं है। इससे पहले भी कई लोगों पर हमले हो चुके हैं, लेकिन प्रशासन की उदासीनता के कारण कोई उचित कदम नहीं उठाया गया है।
प्रशासन की प्रतिक्रिया का इंतजार
फिलहाल, स्थानीय निवासी प्रशासन की ओर से किसी ठोस कार्रवाई की उम्मीद कर रहे हैं। लोगों की मांग है कि जल्द से जल्द बंदरों की समस्या का समाधान किया जाए, ताकि इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।