उत्तर प्रदेश में बिजली दरों में बड़ा बदलाव: गर्मियों में रात में मंहगी मिलेगी बिजली , TOD टैरिफ़ होगा लागू।

अप्रैल 2025 से लागू होगा टाइम ऑफ डे (TOD) टैरिफ

उत्तर प्रदेश में अप्रैल 2025 से घरेलू उपभोक्ताओं के लिए बिजली दरों में महत्वपूर्ण परिवर्तन होने जा रहा है। राज्य सरकार मल्टी ईयर टैरिफ रेगुलेशन 2025 के तहत टाइम ऑफ डे (TOD) टैरिफ लागू करने की तैयारी में है। इस नई व्यवस्था के तहत दिन और रात के समय में बिजली की दरें अलग-अलग होंगी, जिससे उपभोक्ताओं का बिजली बिल 10 से 20 प्रतिशत तक बढ़ सकता है। 

TOD टैरिफ के तहत बिजली दरों का समयानुसार विभाजन

गर्मियों में (अप्रैल से सितंबर): सुबह के समय बिजली सस्ती होगी, जबकि देर शाम से रात तक बिजली महंगी हो जाएगी।

सर्दियों में (अक्टूबर से मार्च): शाम से आधी रात तक बिजली महंगी होगी, जबकि उसके बाद तड़के तक बिजली सस्ती होगी।

इस समयानुसार दरों के परिवर्तन से उपभोक्ताओं को अपने बिजली उपयोग की योजना बनाने में सावधानी बरतनी होगी, ताकि बढ़े हुए बिल से बचा जा सके। 

किसानों को मिलेगी राहत

इस नई टैरिफ व्यवस्था में किसानों को राहत प्रदान की गई है। टाइम ऑफ डे टैरिफ केवल घरेलू, वाणिज्यिक और औद्योगिक उपभोक्ताओं पर लागू होगा, जबकि किसानों को इससे बाहर रखा गया है। 

उपभोक्ताओं पर संभावित प्रभाव

उत्तर प्रदेश में लगभग 3.45 करोड़ बिजली उपभोक्ता हैं, जिनमें से 2.85 करोड़ घरेलू उपभोक्ता हैं। इस नई व्यवस्था के लागू होने से इन घरेलू उपभोक्ताओं के बिजली बिल में 10 से 20 प्रतिशत तक की वृद्धि होने की संभावना है। विशेषकर शाम के समय, जब बिजली की खपत अधिक होती है, उपभोक्ताओं को उच्च दरों का सामना करना पड़ सकता है। 

पूर्व में भी हुआ था विरोध

गौरतलब है कि दो वर्ष पूर्व भी उत्तर प्रदेश में TOD टैरिफ लागू करने का प्रयास किया गया था, लेकिन उपभोक्ता परिषद के विरोध के कारण यह प्रस्ताव स्थगित कर दिया गया था। अब पुनः इसे लागू करने की तैयारी की जा रही है, जिससे उपभोक्ताओं में चिंता बढ़ रही है। 

उपभोक्ताओं के लिए सुझाव

बढ़ते बिजली बिल से बचने के लिए उपभोक्ताओं को अपने बिजली उपयोग की योजना समयानुसार बनानी होगी। उच्च दरों वाले समय में भारी उपकरणों का उपयोग कम करके और सस्ती दरों वाले समय में उनका उपयोग बढ़ाकर बिल में वृद्धि को नियंत्रित किया जा सकता है।

इस नई व्यवस्था के संबंध में उपभोक्ताओं को जागरूक रहना आवश्यक है, ताकि वे समय पर आवश्यक कदम उठा सकें और अपने बिजली बिल को नियंत्रित रख सकें।

रिपोर्ट: हिन्दुस्तान मिरर

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